Chandauli/varanasi : विश्व क्षत्रिय महासभा की ओर से वाराणसी के बदलापुर चांदमारी में आयोजित सम्मेलन में मुख्य अतिथि डा. पंजाब सिंह, पूर्व मुख्यमंत्री जगदंबिका पाल व डा. दुर्ग सिंह के साथ समाजवादी पार्टी के पूर्व विधायक मनोज सिंह डब्लू शामिल हुए। इस दौरान क्षत्रिय समाज को सशक्त बनाने को लेकर विभिन्न विषयों पर समाज के प्रबुद्धजनों ने चिंतन-मंथन किया। साथ ही सभी ने मिलकर क्षत्रिय एकता की हुंकार भरी और आपसी मतभेद को भुलाकर एक-दूसरे के सुख-दुख में खड़े होने का संकल्प लिया। इसके अलावा समाज के युवाओं की शिक्षा-दीक्षा व स्वास्थ्य को बेहतर बनाने को लेकर भी विचार-विमर्श किया गया।
इस दौरान सपा नेता मनोज सिंह डब्लू ने कहा कि सैयदराजा विधायक रहते हुए अपने समाज के कमजोर परिवारों को लोहिया आवास देने का काम किया। उस वक्त अपने ही समाज के लोगों ने इस पुनीत कार्य को लेकर भी टीका टिप्पणी की, जो बेदह दुख व दुर्भाग्यपूर्ण था। हमें समाज के ऐसे लोगों से सतर्क रहने की जरूरत है। कहा कि हम सभी को दूसरों से ज्यादा अपनों से खतरा है। इस खतरे से लड़ना और जीतना बेहद जरूरी है। क्योंकि यही वह लोग हैं जो समाज की एकता को खंडित करने का प्रयास निरंतर करते रहते हैं।
उन्होंने कहा कि यदि हमारा कोई भाई हमसे नाराज है तो उसे मनाना पड़ेगा और उसे समझाकर उसे साथ लेकर चलने की जरूरत है। उसे किसी भी हाल में अकेला नहीं छोड़ा जा सकता, क्योंकि भाई व परिवार महत्वपूर्ण है। लेकिन आज लोग अपने भाई को दरकिनार कर सांसद-विधायक को आमंत्रित कर अपनी शान और शोभा का दिखावा करते हैं। इस तरह के कृत्य से समाज खोखला हो रहा है।
मनोज सिंह डब्लू ने सरकार के बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ स्लोगन का जिक्र किया। कहा कि एक सामान्य किसान परिवार का होने के बावजूद मैंने अपने बेटे और बेटी को पढ़ाने और उन्हें काबिल बनाने का काम किया। आज बेटी चंदौली की पहली महिला पायलट बनने का गौरव अर्जित कर चुकी है। कहा कि हमें अपने बेटे-बेटियों की पढ़ाई पर ध्यान देने के साथ ही उन्हें संस्कारवान बनाने की जरूरत है।
समाज में जो भी कमजोर कड़ी है उसे हम सभी को मिलकर सशक्त बनाना होगा। कमजोर परिवार के बच्चों की शिक्षा-दीक्षा व स्वास्थ्य के बारे में हमें सोचने की जरूरत है। कहा कि स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए अपने प्रयास से चंदौली मेडिकल कालेज के निर्माण की सौगात लेकर आया, जिसे भाजपा सरकार ने राजकीय से स्वशासी करने का काम किया। यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है दो टर्म की सरकार उत्तरप्रदेश की जनता के आकांक्षाओं पर खरी उतरने में पूरी तरह से नाकाम साबित हुई है।