Chandauli news : तो खाकी का नाम सामने आते ही लोगों के जेहन में भ्रष्ट कर्मी की छवि सामने आ जाती है. लेकिन कुछ ऐसे खाकी धारी भी है जो ईमानदारी की मिसाल पेश करते है. कुछ ऐसा ही मामला बीती रात चन्दौली कस्बे में देखने को मिला.जहां बिहार निवासिनी ललिता का गिरा बैग नगर भ्रमण के दौरान पुलिसकर्मी नीरज सिंह व रावेंद्र सिंह को मिला. जिसके बाद ईमानदारी की मिसाल पेश करते हुए पीड़िता को उसका बैग वापस किया गया. जिससे पीड़िता के चेहरे खिल उठे और चन्दौली पुलिस के जवानों को धन्यवाद दिया.

विदित हो कि पुलिस अधीक्षक चंदौली डॉ अनिल कुमार द्वारा श्रावण मास में कांवड़ यात्रा केमद्देनजर शांति एवं कानून व्यवस्था के साथ ही कांवड़ियों संग अपने व्यवहार व आचरण को बनाए रखने, कांवड़ियों की मदद करने, कांवड़ियों के साथ अच्छा व्यवहार रखने हेतु निर्देशित किया गया था. पुलिस की कार्यप्रणाली में आधुनिक तकनीकों व मानव संसाधनों का पूर्ण सदुपयोग के मूलमंत्र सत्यनिष्ठा, नैतिकता, ईमानदारी पर बल दिया गया था.

इसी क्रम में बीती रात ललिता प्रसाद निवासी अमाव थाना चैनपुर, बिहार व उनकी पत्नी कलावती देवी कांवर लेकर बाबा काशी विश्वनाथ धाम बनारस गय थे, वापसी के दौरान कलावती देवी पत्नी ललिता प्रसाद का पर्स रास्ते मे कही गिर गया था. रात्रि गस्त मे लगे थाना कोतवाली चन्दौली की सेकण्ड मोबाइल से उपरोक्त पीड़िता की मुलाकात गस्त के दौरान हुई. पीड़िता द्वारा पर्स खोने के बाबत जानकारी दी गयी.

घटना की जानकारी होने पर सेकण्ड मोबाइल द्वारा तत्काल तत्परता दिखाते हुए उनके आने-जाने वाले मार्गो पर काफी खोजबीन शुरू कर दी गई.इस दौरान पीड़िता कलावती देवी का पर्स पुलिस चौकी कस्बा चन्दौली अंडरपास के सामने गिरा पाया गया. सेकंड मोबाइल में लगे पुलिस कर्मी ने उस पर्स को पीड़िता को सुपुर्द कर दिया गया. जिसमें 10 हजार नगदी व एक मोबाइल था .अपना सामान और पैसा पाने पर पुलिस को धन्यवाद दिया.

इस बाबत पुलिस अधीक्षक ने उपनिरीक्षक रावेन्द्र सिंह व आरक्षी नीरज सिंह के सत्यनिष्ठा, नैतिकता, ईमानदारी को देखते हुए प्रशस्ति पत्र व रावेन्द्र सिंह को 2500 एंव आरक्षी नीरज सिंह 1000 रुपये का नगद पुरस्कार से देने की घोषणा की.

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Ghazipur News: सड़क दुघर्टना में पीजी कॉलेज के असिस्टेंट प्रोफेसर की मृत्यु

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पत्रकार राहुल पटेल

गाजीपुर। पी०जी० कॉलेज के कृषि संकाय में जेनेटिक्स एंड प्लांट ब्रीडिंग विभाग के प्राध्यापक डॉक्टर उदय प्रताप पाण्डेय का सोमवार के दिन सड़क दुघर्टना में निधन हो गया। डॉक्टर पाण्डेय डेढ़ दशकों से महाविद्यालय में असिस्टेंट प्रोफेसर के पद पर शिक्षण कार्य कर रहे थे। वह 2005 में महाविद्यालय नके साथ असिस्टेंट प्रोफेसर कृषि वनस्पति विज्ञान विभाग के पद पद पर कार्यभार ग्रहण किया था। वह ढोटारी गांव के मूल निवासी थे। रोजाना की तरह कक्षा लेने के बाद डॉक्टर पाण्डेय कहीं जा रहे थे। इसी बीच बबेडी के पास सड़क हादसे का शिकार हो गए। जिसमें उन्हें गंभीर चोटे आई। उन्हें उपचार के लिए सदर अस्पताल ले जाया गया। जहां डॉक्टर ने उन्हें मृत्यु घोषित कर दिया। डॉक्टर पाण्डेय की मृत्यु की खबर मिलते ही पी०जी० कॉलेज परिसर में शोक का माहौल व्याप्त हो गया। प्राचार्य प्रोफ० (डॉ०) राघवेन्द्र कुमार पाण्डेय एवं चीफ प्रॉक्टर प्रोफे० (डॉ०) एस०डी० सिंह ‘परिहार’ की मौजूदगी में महाविद्यालय परिसर में दिवंगत आत्मा की शांति के लिए शोक सभा का आयोजन हुई। शोक सभा में समस्त शिक्षक एवं कर्मचारियों के साथ ही छात्र-छात्राएं भी मौजूद रहीं।दिवंगत आत्मा की शांति के लिए 2 मिनट का मौन भी रखा गया। इस मौके पर प्राचार्य प्रोफ० डॉ० राघवेन्द्र कुमार पाण्डेय ने कहा कि डॉक्टर यू०पी० पाण्डेय एक शिक्षक के तौर पर अपने जिम्मेदारियों के प्रति सदैव सजग रहते थे। उनका असमय जाना महाविद्यालय परिवार के लिए अपूर्णीय क्षति है। महाविद्यालय परिवार दु:ख की इस घड़ी में उनके परिजनों के साथ है। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि मंगलवार को स्वर्गीय डॉक्टर पाण्डेय का अंतिम संस्कार होगा। जिसमें शिक्षकों, कर्मचारियों एवं छात्र-छात्राओं के शामिल होने के लिए महाविद्यालय में अवकाश घोषित किया गया है। हालांकि इस बीच विश्वविद्यालय की परीक्षाएं सामान्य समय-सारणी के अनुसार चलती रहेगी। जिन कर्मचारियों और शिक्षकों की ड्यूटी परीक्षा में लगी है। वह परीक्षा विभाग के निर्देशानुसार कार्य करेंगे।

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