The News Point (चन्दौली) : 2021 में पुलिसकर्मियों के वसूली की लिस्ट वायरल करने के मामले में बर्खास्त मुख्य आरक्षी अनिल कुमार सिंह की 156 (3) के प्रार्थना पत्र को मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट स्वप्न आनंद की अदालत ने स्वीकार कर लिया. कोर्ट ने चंदौली की तत्कालीन क्राइम ब्रांच प्रभारी सहित 19 पुलिसकर्मियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर विवेचना पूरा कराने का आदेश नंदगंज पुलिस को दिया है.
वाराणसी निवासी मुख्य आरक्षी अनिल कुमार सिंह ने मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में 156 (3) के तहत प्रार्थना पत्र दिया. इसमें कहा कि वर्ष 2021 में तत्कालीन पुलिस अधीक्षक चंदौली और प्रभारी निरीक्षक मुगलसराय शिवनंद मिश्रा ने पद का दुरुपयोग करके प्रतिमाह नियम विरुद्ध वसूली की जा रही थी. इसकी सूची उन्होंने वायरल कर दी थी. जिसके बाद डीआईजी विजिलेंस लव कुमार ने जांच की थी और रिपोर्ट शासन को भेज दिया गया. जिसके बाद तत्कालीन एसपी चंदौली ने 28 फरवरी 2021 को उन्हें बर्खास्त कर दिया था. बकौल अनिल सिंह इसके बाद उन्हें डराने के लिए झूठे मुकदमे में फंसाने की साजिश की गई. इसको कोतवाली चंदौली इंस्पेक्टर के हमराही ने पर्दाफाश कर दिया और समय रहते बता दिया.
आरोप है कि भ्रष्टाचार को उजागर करने वाले मंजूनाथ, अमित जेठवा, सत्येंद्र कुमार दुबे, सतीश शेट्टी, शशिधर की हत्याएं कर दी गई. इसके बाद आवेदक की हत्या करने के लिए तत्कालीन पुलिस अधीक्षक चंदौली अमित कुमार द्वितीय और स्वाट टीम प्रभारी इंस्पेक्टर राजीव कुमार सिंह, सर्विलांस प्रभारी एसआई अजित कुमार सिंह, थानाध्यक्ष बबुरी एसआई सत्येंद्र विक्रम सिंह, हेड कांस्टेबल आनंद सिंह, कांस्टेबल अमित कुमार यादव, कांस्टेबल भुलन्न यादव, चालक स्वाट टीम कांस्टेबुल राणा प्रताप, आनंद कुमार गोड़ बीते 5 सितंबर 2021 शाम साढ़े पांच बजे सफेद रंग की बोलेरो से शादी वर्दी में उसके ससुराल नंदगंज थाना के बड़हरा गांव पहुंचे और अपहरण कर लिया.
अपहरण की सूचना पुत्री खुशबू ने 112 नंबर डायल पुलिस को दी. साथ ही नंदगंज थाना पुलिस को सूचित किया. इससे आवेदक की जान बच गई, लेकिन योजनाबद्ध तरीके से पद और पावर का दुरुपयोग कर इन लोगों ने दो दिन कस्टडी में रखकर बीते 7 सितंबर 2021 पशु क्रूरता अधिनियम के तहत थाना बबुरी से चालान कर जेल भेज दिया और पशु तस्कर गिरोह का सरगना करार दे दिया गया.